विद्यार्थियों को अब उच्च शिक्षा के लिए जमशेदपुर या अन्य शहरों में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी : चम्पाई सोरेन

पूर्वी सिंहभूम : मुख्यमंत्री चम्पाई सोरेन ने कहा कि आज पूर्वी सिंहभूम जिला के पोटका क्षेत्र में डिग्री कॉलेज का शिलान्यास किया गया है। निश्चित रूप से आने वाले दिनों में इस महाविद्यालय में उच्च शिक्षा की पढ़ाई शुरू की जाएगी। इस क्षेत्र के विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए अब जमशेदपुर या अन्य शहरों में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। मुख्यमंत्री शुक्रवार को पूर्वी सिंहभूम जिले के पोटका में महाविद्यालय के शिलान्यास कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य की समृद्ध जनजाति एवं क्षेत्रीय भाषाओं के विकास एवं संवर्धन के लिए अब प्राथमिक विद्यालयों से ही इन भाषाओं में पढ़ाई शुरू होगी। संताली, मुंडारी, उरांव सहित जनजातीय भाषाओं के घंटी आधारित शिक्षकों की नियुक्ति जल्द की जाएगी। राज्य में बंगाली तथा उड़िया भाषा की भी पढ़ाई प्राथमिक विद्यालयों से शुरू हो यह उनकी सरकार की प्राथमिकता है।

आधुनिक युग में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा जरूरी

मुख्यमंत्री ने कहा कि आधुनिक युग में राज्य की युवा पीढ़ी तथा स्कूलों में अध्ययनरत विद्यार्थियों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराना बहुत जरूरी है। राज्य की दशा और दिशा तभी बदलेगी जब यहां के बच्चे बेहतर शिक्षा प्राप्त कर डॉक्टर, इंजीनियर, वकील, अफसर सहित अन्य बड़े पदों को सुशोभित करेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड खनिज संपदाओं से भरा प्रदेश है। जब झारखंड की युवा पीढ़ी पढ़-लिखकर काबिल बनेगी, तभी यहां की खनिज संपदाओं का उपयोग जनहित तथा राज्य हित में किया जा सकेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह प्रदेश धनी प्रदेश के रूप में जाना जाता है लेकिन यहां की जनता गरीबी रेखा से नीचे रहकर जीवन यापन करती है। जब यहां बच्चे मैट्रिक पास करते हैं तब परिवार की आर्थिक हालत खराब रहने के कारण उन्हें पढ़ाई छोड़कर उनके परिजन उन्हें प्राइवेट नौकरी अथवा मजदूरी का काम करने को कहते हैं।

चम्पाई ने कहा कि उच्च शिक्षा के लिए पैसों की कमी होनहार विद्यार्थियों के लिए अभिशाप बनती है, इस स्थिति को बदलने के लिए उनकी सरकार विद्यार्थियों को गुरुजी क्रेडिट कार्ड योजना के माध्यम से मदद कर रही है। इस योजना के तहत उच्च शिक्षा डिग्री हेतु जरूरत के हिसाब से शिक्षा ऋण उपलब्ध कराई जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि आदिवासी एवं मूलवासी सहित अन्य वर्ग समुदाय के वैसे बच्चे जो विदेश में स्थापित शिक्षण संस्थानों से पढ़ाई करना चाहते हैं उन्हें भी शत- प्रतिशत स्कॉलरशिप देकर अन्य देशों में पढ़ाई करने का मौका उनकी सरकार दे रही है।

हर स्तर पर शिक्षा व्यवस्था में हो रहा है सुधार

मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार राज्य में शिक्षा व्यवस्था के हर स्तर पर प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है। पूर्व की सरकारों ने राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में संचालित पांच हजार सरकारी विद्यालयों को बंद कर दिया था। प्राइमरी विद्यालय बंद होने से यहां के आदिवासी, मूलवासी, गरीब, मजदूर, किसान सहित सभी-वर्ग समुदाय के बच्चों के प्रारंभिक शिक्षा से वंचित हुए थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार राज्य की शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए कृत संकल्पित है। शिक्षा व्यवस्था में सुधार एवं सकारात्मक बदलाव लाने के लिए राज्य में संचालित सरकारी विद्यालयों को उत्कृष्ट विद्यालय एवं मॉडल स्कूल के रूप में परिवर्तित किया जा रहा है। अब राज्य के बच्चे भी निजी विद्यालयों के तर्ज पर इन उत्कृष्ट विद्यालयों में निःशुल्क गुणवत्तापूर्ण शिक्षा ग्रहण कर सकेंगे।

बुनियादी व्यवस्थाओं को मजबूत करने पर हो रहा कार्य

मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार राज्य में बुनियादी व्यवस्थाओं को मजबूत और सुदृढ़ करने के लिए निरंतर कार्य कर रही है। उनकी सरकार प्रधानमंत्री आवास से वंचित पात्र आठ लाख परिवारों को ही नहीं, बल्कि राज्य के पात्र 20 लाख आवास विहीन परिवारों को अबुआ आवास योजना के तहत तीन कमरों का पक्का मकान उपलब्ध कराएगी। आने वाले तीन महीने के बाद नौ लाख परिवारों को अबुआ आवास योजना का लाभ राज्य सरकार देगी। कोई भी परिवार अब झोपड़ी या कच्चे मकान में रहने को विवश न रहे, यह उनकी सरकार की प्रतिबद्धता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार राज्यवासियों को 125 यूनिट बिजली निशुल्क उपलब्ध कराएगी। सभी उपभोक्ताओं के घरों पर बिजली का मीटर फ्री में लगाया जाएगा। बिजली बिल से संबंधित विसंगतियों को भी सुधरा जाएगा।

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